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    जानिए गिलोय के बारे में,सेवन के तरीके और नुक्सान के बारे में

    Giloy - गिलोयजानिए गिलोय के बारे में,सेवन के तरीके और नुक्सान के बारे में

     गिलोय क्या है ( what is giloy in hindi)

    • शायद ही कोई इंसान हो जिसने गिलोय का नाम ना सुना हो,लेकिन कुछ लोग ऐसे भी हो सकते है जिन्होंने गिलोय का केवल नाम ही सुना होगा, कभी इस्तेमाल या देखा कभी नहीं होता है| चलिए आज हम आपको गिलोय के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी उपलब्ध कराते है | गिलोय एक तरह की बेल होती है, जिस पर पान के आकार के पत्ते आते है, गिलोय पर पीले व हरे रंग के फूल भी आते है और इस पर लगने वाला फल मटर के दाने जैसा होता है| गिलोय के पत्ते खाने में कड़वे और तीखे स्वाद वाले होते है|
    • गिलोय को हिंदी (giloy in hindi) में गडुची, गिलोय, अमृता और अंग्रेजी में इसे इण्डियन टिनोस्पोरा के नाम से जाना जाता है| गिलोय की बेल जल्दी से सूखती नहीं है और जिस पेड़ पर गिलोय की बेल होती है उस पेड़ के गुण भी अपने अंदर समा लेती है| आमतौर पर नीम के पेड़ की गिलोय सबसे उत्तम मानी जाती है, जिसका सबसे बड़ा कारण यह है की नीम बहुत ही लाभकारी होता है| 
    • गिलोय के लाभ (benefits of giloy) के बारे में हम आपको दूसरे लेख में बताएंगे | गिलोय अनेको बीमारियों को दूर करने में असरदार होता है| आँखों के रोग, बुखार, कान के रोग, टीबी, कब्ज, डायबिटीज इत्यादि में गिलोय बहुत लाभकारी होता है| गिलोय की तासीर के बारे में भी बहुत से लोगों के मन में सवाल रहते है की इसकी तासीर गर्म होती है या ठंडी | आयुर्वेद की मानें तो गिलोय की तासीर गर्म होती है इसलिए सर्दी-जुकाम और बुखार में गिलोय बहुत ज्यादा फायदेमंद होता है|
    • गिलोय का इस्तेमाल बुखार में एक आयुर्वेदिक दवा के रूप में लाभ पहुंचाता है. इसका इस्तेमाल डायबिटीज रोगियों के लिए बहुत सारे फायदे हैं| डायबिटीज में गिलोय का सेवन करने से ब्लड शुगर कंट्रोल रहता है और पाचन तंत्र बेहतर बनाता है| यह इम्यूनिटी बढ़ाने में भी मददगार होता है|
    • गिलोय एक कभी ना सूखने वाला पौधा है। इसका तना रस्सी की तरह होता है और इसके पत्ते पान के आकार के होते हैं। इसके साथ ही इसमें पीले और हरे रंग के फूल गुच्छे में निकलते हैं कहा जाता है कि नीम पर चढ़ी गिलोय अधिक फायदेमंद होती है। क्योंकि गिलोय एक ऐसा पौधा है जिस पेड़ पर इसकी लतें लगती है यह उसके भी गुण ले लेता है। 
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    गिलोय बच्चो को दे सकते है या नहीं ( giloy is safe for kids )

    • छोटे बच्चो को सर्दी, बुखार बहुत जल्दी आ जाता है,ऐसे में बहुत सारे ऐसे लोग होते है जो बच्चो के लिए कोई घरेलू नुस्खा ढूंढ़ते है जिससे बच्चे को बिना दवाई के आराम मिल जाए| जिन लोगो को गिलोय के बारे में पता होता है वो बच्चो को गिलोय देने की सोचते है लेकिन उनके मन में एक सवाल आता है की बच्चो को गिलोय दे सकते है या नहीं| अगर आपके साथ भी कोई ऐसी परेशानी है तो चलिए आज हम आपकी परेशानी का समाधान करते है| 
    • अगर आपका बच्चा पांच वर्ष से कम है तो आप उसे गिलोय बिलकुल मत दीजिए, लेकिन अगर आपका बच्चा पांच वर्ष या पांच वर्ष से अधिक का है तो आप उसे गिलोय दे सकते है| गिलोय की तासीर गर्म होती है और बच्चो का शरीर नाजुक होता है, गिलोय के सेवन से उन्हें किसी भी प्रकार की परेशानी का सामना भी करना पढ़ सकता है| इसीलिए हम आपको सलाह देंगे की बच्चो को गिलोय देने से पहले किसी आयुर्वेदिक डॉक्टर से सलाह जरूर लें, बिना डॉक्टर की सलाह के बच्चो को गिलोय ना दें|

    गिलोय के फायदे

    • गिलोय एक यूनिवर्सल जड़ी बूटी है जो इम्युनिटी को बढ़ाने में मदद करती है| यह एंटीऑक्सीडेंट का एक पावर हाउस है जो फ्री-रेडिकल्स से लड़ता है, आपकी कोशिकाओं को स्वस्थ रखता है, और बीमारियों से छुटकारा दिलाता है
    • बुखार का इलाज करने से लेकर पाचन और प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने तक गिलोय आपके लिए फायदेमंद है|
    • गिलोय पाचन में सुधार डाइजेशन की समस्याओं के लिए बहुत फायदेमंद है | आप अच्छे रिजल्ट के लिए  नियमित रूप से आंवला के साथ आधा ग्राम गिलोय पाउडर ले सकते हैं या कब्ज के इलाज के लिए गुड़ के साथ ले सकते हैं|
    • गिलोय के तने को पानी में घिसकर गुनगुना कर लें। इसे कान में 2-2 बूंद दिन में दो बार डालने से कान का मैल (कान की गंदगी) निकल जाता है। कान के बीमारी से राहत पाने के लिए सही तरह से इस्तेमाल करने पर गिलोय के फायदे मिल सकते हैं। 
    • एसिडिटी के कारण उल्टी हो तो 10 मिली गिलोय रस में 4-6 ग्राम मिश्री मिला लें। इसे सुबह और शाम पीने से उल्टी बंद हो जाती है। गिलोय के 125-250 मिली चटनी में 15 से 30 ग्राम शहद मिला लें।इसे दिन में तीन बार सेवन करने से उल्टी की परेशानी ठीक हो जाती है।

    गिलोय के सेवन का तरीका (How to Use Giloy?)

    गिलोय के बारे में हम आपको ऊपर बता चुके है, अब हम आपको गिलोय के सेवन के बारे जानकारी उपलब्ध करा रहे है| गिलोय का सेवन काढ़ा और रस के रूप में किया जाता है| चलिए सबसे पहले हम आपको काढ़ा और रस बनाने का तरीका बताते है| 

    • गिलोय का रस बनाने के लिए सबसे पहले आपको गिलोय के तनो को और पत्तो को लेकर उन्हें अच्छी तरह से धो लें, फिर उन्हें मिक्सी में थोड़ा सा पानी डाल कर पीस लें, फिर उसे छान कर रस का सेवन कर लें| कुछ लोग केवल गिलोय के तनो का रस भी निकाल कर सेवन करते है|
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    • गिलोय का काढ़ा बनाने के लिए सबसे पहले गिलोय के तने को छोटे छोटे टुकड़ो में काट लें| फिर उन टुकड़ो एक भगोने में डाल दें फिर उसमे चार गुना पानी डाल कर गर्म होने रख दें| जब पानी चौथाई रह जाएं तब उसे छान लें बस आपका काढ़ा तैयार है, आप चाहे तो इसमें लोंग, तुलसी के पत्ते, काली मिर्च इत्यादि चीजे भी डाल सकते है| 
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    गिलोय के नुकसान (Side Effects of Giloy)

    गिलोय का सेवन किस तरह किया जा सकता है, इसके बारे में आपको जानकारी मिल चुकी है| अब हम आपको गिलोय के नुकसान के बारे जानकारी बता रहे है| वैसे तो गिलोय के लाभ अनगिनत है और इसके नुकसान लगभग ना के बराबर है| गिलोय के नुकसान निम्न प्रकार है –

    1 – गिलोय हाई डायबिटीज को नियंत्रित करने में सहायक होती है, लेकिन अगर आपको लो डायबिटीज है तो आपको गिलोय का सेवन नहीं करना चाहिए| क्योंकि गिलोय का सेवन करने से शुगर कम हो जाती है और अगर आपकी शुगर पहले से कम है और आप गिलोय का सेवन करते है तो शुगर की काफी नीचे पहुँच जाएगी जिससे आपको काफी बड़ी परेशानी का सामना करना पढ़ सकता है| इसलिए डायबिटीज से पीड़ित इंसान को बिना डॉक्टर की सलाह के गिलोय का सेवन नहीं करना चाहिए|

    2 – कोई भी ऐसी महिला जो गर्भवती है उसे भी गिलोय का सेवन नहीं करना चाहिए| गिलोय की तासीर गर्म होती है इसीलिए अगर गर्भवती महिला गिलोय का सेवन करती है तो उसका नकारात्मक प्रभाव शिशु पर भी पढ़ सकता है| अगर कोई महिला शिशु को दूध पिलाती है तो ऐसी महिलाओ को भी गिलोय का सेवन नहीं करना चाहिए वरना ऐसी महिला और उनके शिशु को परेशानी का सामना करना पढ़ सकता है|

    3 – गिलोय का सेवन कितनी मात्रा में करना चाहिए इसकी जानकारी भी होना बहुत जरुरी होता है| कई बार कुछ इंसान गिलोय का रस या काढ़ा दिन में कई बार पी लेते है, जिसकी वजह से उनकी शुगर कम होने के साथ साथ उन्हें कब्ज या अन्य परेशानियो का सामना करना पढ़ जाता है| इसीलिए गिलोय का सेवन सही मात्रा में ही करें, बीमारी या परेशानी को जल्दी ठीक करने के चककर में बहुत अधिक मात्रा में गिलोय का सेवन नहीं करना चाहिए वरना घातक परिणाम भुगतने पढ़ सकते है|

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    3 COMMENTS

    1. Mein Giloy ka juice saptah mein ek baar pita rahta hun, isse sarir bilkul fit rahta hai. maine bukhar hone par kai baar piya, bukhar turant theek hota hai. giloy ke ras va juice ko hamesa pite rahna chahiye.

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